जिस देश में गंगा बहती है
जिस देश में नारी रहती है
मैं उस देश को शीश झुकाती हूं
उस देश की कविता गाती हूं
वो देश हमारा सैनिक है
पहरा देता वो दैनिक है
उस देश में सैनिक रहते हैं
मर जाते हैं मिट जाते हैं
हमको जीवन देकर वो
खुद बलिदान हो जाते हैं
वो देश है हथियार मेरा
उस देश कि नारी लक्ष्मी है
हर देशों से वो अच्छा है
उसकी एकता पक्की है
वो पवित्र पावन भारत है
हमारा वह संचालक है
उस देश को शीश झुकाती हूं
उस देश की कविता गाती हूं
नाम दिव्या शुक्ला नारायणा पब्लिक स्कूलकक्षा छह बी